विजयनगर साम्राज्य | मध्यकालीन भारत का इतिहास (Medieval India)

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विजयनगर साम्राज्य | मध्यकालीन भारत का इतिहास (Medieval India)

विजयनगर साम्राज्य | मध्यकालीन भारत का इतिहास (Medieval India)
विजयनगर साम्राज्य | मध्यकालीन भारत का इतिहास (Medieval India)

विजयनगर साम्राज्य

  • विजयनगर साम्राज्य की स्थापना पाँच भाइयों वाले परिवार के दो सदस्यों हरिहर तथा बुक्का ने की थी।

हरिहर (1336-1356 ई.)

  • 1336 ई. हम्पी (हस्तिनावती) की नींव डाली जिसे विजय नगर के नाम से जाना गया।

देवराय-I (1406-1422 ई.)

  • देवराय-I ने तुंगभद्रा तथा हरिद्रा नदी पर बाँध बनवाया व 12 मील लंबी नहर का निर्माण कराया। देवराय-I के शासनकाल में ही इटली के यात्री निकोलो कोंटी (1420 ई.) ने विजयनगर राज्य का भ्रमण किया था।
  • इसके शासनकाल में अब्दुल रज्जाक (फारसी यात्री ) भारत आया।

कृष्णदेवराय (1509-1529 ई.) 

  • कृष्णदेवराय विजयनगर साम्राज्य का महान शासक था। यह हिन्दू धर्म का संरक्षक व वैष्णव धर्म का अनुयायी था।
  • पुर्तगाल का यात्री डोमिंगो पाएस कृष्णदेवराय के दरबार में अनेक वर्षों तक रहा।
  • कृष्णदेवराय ने तेलुगु भाषा के प्रसिद्ध ग्रंथ ‘अमुक्तमाल्यद’ तथा संस्कृत भाषा में ‘जाम्बवती कल्याणम’ तथा (नाटक) उषा परिण्य की रचना की।
  • उसके दरबार में तेलुगु भाषा के आठ सर्वश्रेष्ठ कवि रहते थे, जिन्हें अष्टदिग्गज नाम से जाना जाता था।
  • अल्लासानी पेड्डाना उसके राजदरबार में रहता था जिसे तेलुगु कविता का पितामह कहा जाता है।
  • कृष्णदेवराय ने आन्ध्रभोज, आंध्र पितामह, अभिनव भोज आदि उपाधियाँ धारण की।
  • पुर्तगाली यात्री बारबोसा कृष्णदेवराय के समय विजय नगर की यात्रा पर भारत आया।

अच्युत देवराय (1529-1542 ई.)

  • रामराय की दोस्ती-दुश्मनी नीति से तंग आकर बीजापुर, अहमदनगर, गोलकुंडा तथा बीदर ने विजयनगर के विरुद्ध एक संयुक्त मोर्चा का गठन किया, जिसका परिणाम तालीकोटा का युद्ध था।
  • तालीकोटा का युद्ध (23 जनवरी, 1565) राक्षसी तगड़ी नामक गाँवों में लड़ा गया, जिसका नेतृत्व अली आदिलशाह ने किया। तालीकोटा युद्ध का अन्य नाम “बन्नीहट्‌टी का युद्ध” भी है।
  • आर. सेवेल तालीकोटा युद्ध का प्रत्यक्षदर्शी था तथा इस युद्ध का वर्णन अपनी पुस्तक “A forgotton Empire” में किया गया। 

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